महिलाओं की दैहिक क्रिया कारक रक्त दाब पर शारीरिक व्यायाम एवं योगिक क्रियाओं के संयुक्त प्रभाव का अध्ययन
Abstract
आधुनिक युग में सबसे बड़ी समस्या शरीर को स्वस्थ एवं मजबूत बनाए रखना है। सामाजिक दृष्टि से देखा जाए तो महिलाओं का शरीर को स्वस्थ रखने और मजबूत बनाए रखना और भी दुर्लभ है। प्रस्तुत शोध पत्र में शोधार्थी ने महिलाओं की दैहिक क्रिया कारक रक्तदाब पर शारीरिक व्यायाम एवं योग क्रियाओ के संयुक्त प्रभाव का अध्ययन किया है। महिलाओं की दैहिक क्रिया कारक रक्तदाब से संबंधित अनेक समस्याएं को देखते हुए शोधार्थी ने इस शोध को चुना है। शोधार्थी ने अनेक अन्य शोध अध्ययनो से एवं योग व व्यायाम के प्रभाव को देखते हुए शोध पत्र तैयार किया है। महिलाओं की सामाजिक स्थिति और उनके दैनिक कार्य इस प्रकार होते हैं, कि वह अपने दैहिक क्रिया कारकों को ठीक प्रकार से नहीं रख पाती है। शोध पत्र में महिलाओं की दही क्रियाकारक रक्तदाब को सही रखने के लिए व्यायाम एवं योग क्रियाओ के संयुक्त अभ्यास पर जोर दिया है।
योग व व्यायाम के संयुक्त प्रशिक्षण का दैहिक कारको पर क्या प्रभाव पड़ा है उसे देखते हुऐ भी स्वास्थ्य वृद्धि प्राप्त कर सकती है। प्रत्येक कार्य किसी ना किसी उद्देश्य को केन्द्र में रखते हुए ही किया जाता है, यहाँ पर भी शोधार्थी द्वारा प्रस्तुत शोध अध्ययन ध्यान में रखते हुए किया गया है। दैहिक क्रिया कारको पर भी योग प्रशिक्षण के दृष्टिकोण से महिलाएं किस प्रकार प्रभावित हो सकती है। महिलाओ के दैहिक क्रिया कारको पर भी व्यायाम प्रशिक्षण का प्रभाव देखना उद्देश्य रहा है। योग व व्यायाम प्रशिक्षण का संयुक्त रूप से क्या प्रभाव दैहिक क्रिया कारको पर पड़ सकता है।
मूल शब्द:- महिला, दैहिक क्रिया कारक, रक्तदाब, शारीरिक व्यायाम, योग क्रिया।
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