औद्योगिक श्रमिकों की आय पर ब्व्टप्क्-19 महामारी के प्रभाव का विश्लेषणात्मक अध्ययन
Abstract
कोविड-19 महामारी ने वैश्विक स्तर पर आर्थिक और सामाजिक संरचनाओं को प्रभावित किया है, जिसमें भारत का औद्योगिक क्षेत्र भी अछूता नहीं रहा। संगठित क्षेत्रों में कार्यरत श्रमिकों को इस संकट का तीव्र प्रभाव झेलना पड़ा। महामारी के दौरान लॉकडाउन, उत्पादन में रुकावट, और रोजगार में अनिश्चितता ने श्रमिकों की जीवन-शैली और आर्थिक सुरक्षा को चुनौती दी।यह अध्ययन झाँसी क्षेत्र के औद्योगिक श्रमिकों की परिस्थितियों का समाजशास्त्रीय परिप्रेक्ष्य से मूल्यांकन करता है। शोध का उद्देश्य यह जानना है कि कोविड-19 के पश्चात उनकी आय, वेतन संरचना एवं रोजगार की स्थिरता में किस प्रकार के परिवर्तन संभावित हैं। साथ ही, यह अध्ययन पुरुष एवं महिला श्रमिकों की स्थिति की तुलनात्मक समीक्षा भी करता है, जिससे लिंग आधारित आर्थिक असमानताओं की पहचान की जा सके।
यह शोध नीति-निर्माताओं को श्रमिकों की सामाजिक सुरक्षा, न्यूनतम वेतन गारंटी एवं आपदा-कालीन राहत उपायों के पुनर्विचार हेतु एक दिशा प्रदान करने का प्रयास करता है।कोविड-19 महामारी ने झाँसी क्षेत्र के औद्योगिक श्रमिकों की आय और आर्थिक स्थिरता पर महत्वपूर्ण प्रभाव डाला है।विश्लेषण में पुरुषों ने वेतन संरचना और नियमितता में अधिक सकारात्मक प्रतिक्रिया दी, जबकि महिलाओं ने अधिक नकारात्मक प्रभाव की सूचना दी। यह अध्ययन लैंगिक संवेदनशील नीतियों, कौशल विकास, और सामाजिक सुरक्षा योजनाओं की आवश्यकता को रेखांकित करता है ताकि श्रमिकों की आर्थिक स्थिरता सुनिश्चित की जा सके।
मुख्य शब्द- कोविड-19, औद्योगिक श्रमिक, आय परिवर्तन, वेतन संरचना, काई-वर्ग परीक्षण, लैंगिक असमानता
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